मोबाइल पर बात करने, टॉयलेट करने गए दो मजदूरों की बची जान नया विचार समस्तीपुर- समस्तीपुर के एल्यूमीनियम फैक्ट्री में बुधवार दोपहर एक हादसे में एक मजदूर की दर्दनाक मौत हो गई। जानकारी के मुताबिक, फैक्ट्री में बॉयलर के फटने से एक मजदूर की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि 3 अन्य मजदूर गंभीर रूप से घायल हो गए। एक अन्य मजदूर के मलबे में दबे होने की जानकारी सामने आ रही है। हालांकि, इसकी पुष्टि नहीं हो पाई है। अस्पताल में घायलों के पहुंचने के बाद अफरा-तफरी मच गई। हादसे की सूचना के बाद पुलिस भी अस्पताल पहुंची और घायलों से घटना की जानकारी लेने में जुट गई। साथ ही एक टीम घटनास्थल पर भी पहुंची है, जहां जांच पड़ताल जारी है। घटना वैनी थाना क्षेत्र स्थित फैक्ट्री की बताई जा रही है। तापमान बढ़ने से फटा बॉयलरः एसडीओ घटना की जानकारी के बाद मौके पर पहुंचे सदर एसडीओ दिलीप कुमार ने घटना की जानकारी देते हुए बताया कि समस्तीपुर जिले के वैनी थाना के पास एक अल्युमिनियम फैक्ट्री में बॉयलर के ब्लास्ट होने से एक मजदूर की मौत हो गई जबकि एक डेड बॉडी के मालवी में फंसे होने की बात बताई गई है। गंभीर रूप से जख्मी तीन लोगों को उपचार के लिए समस्तीपुर सदर अस्पताल भेजा गया है। सदर एसडीओ ने बताया कि घायलों और मृतक की पहचान जारी है। हालांकि, कुछ घायलों की पहचान हुई है, लेकिन पुष्टि के बाद ही इसकी जानकारी दी जाएगी। उधर, बताया जा रहा है कि दिलीप कुमार नाम का शख्स फैक्ट्री का मालिक बताया जा रहा है। घटना के बाद फैक्ट्री में मौजूद सभी लोग फरार हो गए हैं। प्रत्यक्षदर्शी ने कहा- काफी तेज था धमाका प्रत्यक्षदर्शी राहुल सिंह ने बताया कि यहां एल्यूमीनियम फैक्ट्री में बॉयलर ब्लास्ट हुआ। धमाका काफी तेज था। हम लोग कुछ ही दूरी पर थे। धमाके की तेज आवाज के बाद हम लोग घटनास्थल की ओर दौड़े। यहां आकर देखा, तो धमाके के बाद फैक्ट्री की दीवार मलबे में तब्दील हो गई थी। मलबे में तीन मजदूर बेहद गंभीर स्थिति में पड़े थे। तीनों को तत्काल गांव के लोगों की मदद से ताजपुर हॉस्पिटल भेजा गया, जहां से उन्हें सदर अस्पताल रेफर कर दिया गया। एक मजदूर की मौक पर ही मौत हो गई। एक मजदूर के दबे होने की बात कही जा रही है। फिलहाल, जेसीबी से मलबा हटाया जा रहा है। इसके बाद ही कुछ स्पष्ट हो पाएगा। 100 साल पुरानी है फैक्ट्री, 150 से 200 मजदूर करते हैं काम राहुल सिंह ने बताया कि हादसे के शिकार मृतक मुजफ्फरपुर का रहने वाला बताया जा रहा है। उसका सिर बुरी तरह से डैमेज हो गया था। उन्होंने बताया कि फैक्ट्री करीब 100 साल पुरानी है, जहां एल्यूमिनियम का बर्तन बनता है। राहुल ने बताया कि फैक्ट्री में 150 से 200 मजदूर काम करते हैं, लेकिन जहां बॉयलर रहता है, वहां करीब 7 से 8 मजदूर रहते हैं, काम करते हैं। मोबाइल पर बात करने गया, तो बची जान राहुल ने बताया कि एक मजदूर आज छुट्टी पर था। एक मजदूर जो घायल है, उसकी पहचान पवन कुमार सिंह के रूप में हुई है, उनका बेटा भी फैक्ट्री में काम करता है, जो घटना से ठीक पहले मोबाइल पर बात करने बाहर चला गया था, जिससे उसकी जान बच गई। वहीं, एक मजदूर टॉयलेट चला गया था।