Premanand Maharaj Tips: हिन्दू धर्म में तुलसी के पौधे को बहुत पवित्र माना गया है. इस पौधे की पूजा करने से घर में सुख शांति आती है. तुलसी का पौधा भगवान विष्णु को काफी ज्यादा प्रिय है।तुलसी के पत्ता नहीं होने पर भगवान विष्णु कि पूजा को अधूरी मानी जाती है. ज्यादातर हिन्दू परिवार के घरों में तुलसी का पौधा देखने को मिलता है, घर में भी तुलसी का पौधा होता है वो काफी नियमों का पालन करते हैं, लेकिन कई बार ऐसा होता है कि अनजाने में कुछ नियमों का हम पालन नहीं कर पाते है जिसके कारण हमें ब्रह्महत्या का पाप लग सकता है. ऐसे में इस आर्टिकल में जानेंगे की प्रेमानन्द महाराज के द्वारा बताए गए वो कारण-
इस दिन भूल कर भी न तोड़े तुलसी का पत्ता
प्रेमानंद महाराज बताते है कि द्वादशी तिथि पट तुलसी के पत्तों को हाथ नहीं लगाना चाहिए, इसे बहुत बड़ा पाप माना जाता है. इस दिन अगर कोई तुलसी का पत्ता तोड़ता है तो वो ब्रह्महत्या करने के समान माना जाता है. ये पाप इतना बड़ा माना जाता है कि उस व्यक्ति को नर्क भेज जा सकता है. इसके अलावा प्रेमानंद महाराज कहते है कि साल में 12 एकादशी होती हैं, लेकिन निर्जला एकादशी बेहद महत्वपूर्ण मानी जाती है. इस दिन तुलसी के पौधे को छूना भी वर्जित माना जाता है, जो भी व्यक्ति अगर गलती से इसे छू लेता है तो वो महापाप का भागी बनता है.
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सप्ताह के इस दिन भी रखें ख्याल
प्रेमानंद महाराज के अनुसार रविवार, मंगलवार, और एकादशी के दिन तुलसी को जल देना चाहिए, लेकिन छूना या उसके पत्ते तोड़ना वर्जित है. इन दिनों तुलसी मत आराम करती हैं, इसलिए उन्हें परेशान नहीं करना चाहिए.
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