संवाददाता,पटना बिहार विधानसभा चुनाव में मतदाताओं की सुविधा के लिए चुनाव आयोग ने आधार कार्ड सहित 12 प्रकार के फोटोयुक्त पहचान पत्रों को वोट देने के लिए मान्य घोषित किया है. आयोग ने शुक्रवार को जारी एक बयान में बताया है कि बिहार के विधानसभा क्षेत्रों में लगभग 100 प्रतिशत मतदाताओं को मतदाता पहचान पत्र (इपीआइसी) जारी किये जा चुके हैं. चुनाव आयोग ने सभी मुख्य कार्यकारी अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वे मतदाता सूची के अंतिम प्रकाशन के 15 दिनों के भीतर नये मतदाताओं को इपिक कार्ड वितरित करें. इसके अलावा जिन मतदाताओं के नाम मतदाता सूची में शामिल हैं , लेकिन वे इपिक प्रस्तुत करने में असमर्थ हैं, उनके लिए सात अक्तूबर , 2025 को जारी अधिसूचना के तहत 12 वैकल्पिक फोटोयुक्त पहचान दस्तावेजों में से किसी एक को प्रस्तुत करने की अनुमति दी गयी है. मतदान के समय मतदाता पहचान के रूप में इसका उपयोग कर सकते हैं. आधार कार्ड, मनरेगा जॉब कार्ड, बैंक/डाकघर द्वारा जारी फोटोयुक्त पासबुक, श्रम मंत्रालय/आयुष्मान हिंदुस्तान योजना के तहत जारी स्वास्थ्य बीमा स्मार्ट कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पैन कार्ड, राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (एनपीआर) के तहत हिंदुस्तान के महापंजीयक द्वारा जारी स्मार्ट कार्ड, हिंदुस्तानीय पासपोर्ट, फोटोयुक्त पेंशन दस्तावेज, केंद्र/राज्य प्रशासन, सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों या पब्लिक लिमिटेड कंपनियों द्वारा कर्मचारियों को जारी फोटोयुक्त सेवा पहचान पत्र, सांसदों, विधायकों, या विधानसभा सदस्यों को जारी आधिकारिक पहचान पत्र, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय और हिंदुस्तान प्रशासन द्वारा जारी विशिष्ट विकलांगता पहचान पत्र (यूडीआइडी) कार्ड शामिल हैं. आयोग ने स्पष्ट किया है कि मतदान के लिए मतदाता सूची में नाम होना अनिवार्य है. यह कदम मतदाताओं की सुविधा और मतदान प्रक्रिया को और समावेशी बनाने के लिए उठाया गया है.
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