Hemant Soren Gift: जमशेदपुर, संजीव भारद्वाज-झारखंड प्रशासन के गृह, कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने राज्य के 24 जिलों के झारखंड आंदोलनकारियों के छह माह की बकाया पेंशन राशि के रूप में 5,44,52,000 रुपए आवंटित कर दिए हैं. राज्य प्रशासन के आदेश के बाद आवंटन राशि सभी जिला के उपायुक्त के पास पहुंच गयी है. सप्ताह भर के अंदर सभी का भुगतान आंदोलनकारियों को खातों के माध्यम से कर दिया जायेगा. पूर्वी सिंहभूम जिले के आंदोलनकारियों के 64.75 लाख, पश्चिमी सिंहभूम जिले को 23.44 लाख और सरायकेला-खरसावां को 20.86 लाख रुपये की राशि आवंटित की गयी है.
एरियर भुगतान पर प्रशासन की चुप्पी-संजय लकड़ा
झारखंड आंदोलनकारी मंच के संयोजक संजय लकड़ा ने कहा कि झारखंड के 401 आंदोलनकारियों में (64.75 लाख) का भुगतान तो हो जायेगा, लेकिन प्रशासन ने अभी तक 301 आंदोलनकारियों का बकाया एरियर करीब साढ़े चार करोड़ रुपये के भुगतान के संबंध में किसी तरह की पहल नहीं की है. प्रशासन का एरियर के साल में कटौती करने की योजना और चुप्पी साध लेने पर झारखंड आंदोलनकारी मंच के बैनर तले आंदोलनकारियों ने विरोध जताया है.
जिले का नाम आवंटित राशि
- पूर्वी सिंहभूम 64.75 लाख
- सरायकेला-खरसावां 20.86 लाख
- पश्चिम सिंहभूम 23.44 लाख
- बोकारो 47.10 लाख
- चतरा 13.26 लाख
- देवघर 7.57 लाख
- धनबाद 58.71 लाख
- दुमका 46.20 लाख
- गिरिडीह 34.99 लाख
- गोड्डा 14.21 लाख
- गुमला 13.44 लाख
- हजारीबाग 37.33 लाख
- जामताड़ा 18.50 लाख
- कोडरमा 23.14 लाख
- लातेहार 3.21 लाख
- पाकुड़ 1.57 लाख
- पलामू 1.47 लाख
- रामगढ़ 22.16 लाख
- रांची 61.78 लाख
- साहिबगंज 1.05 लाख
पूर्वी सिंहभूम में हैं 401 पेंशनधारी आंदोलनकारी
झारखंड आंदोलनकारी मंच के संयोजक संजय लकड़ा ने बताया कि प्रशासन ने लंबे समय से पूर्वी सिंहभूम के आंदोलनकारियों का बकाया-एरियर का भुगतान नहीं किया है. पूर्ववर्ती रघुवर दास की प्रशासन ने आंदोलनकारियों के एरियर की डेटलाइन 2015 तय की थी, जबकि मौजूदा प्रशासन इसे 2021 करने पर अड़ी हुई है. झारखंड प्रशासन के गृह, कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने पूर्वी सिंहभूम जिले के 100 आंदोलनकारियों के एरियर का भुगतान पूर्व की डेट लाइन-साल से कर दिया है, जबकि बाकी 301 आंदोलनकारियों का बकाया साढ़े चार करोड़ रुपये से अधिक का प्रशासन के पास लंबित है. जब झारखंड अलग राज्य 15 नवंबर 2000 को हुआ, तो ऐसी स्थिति में आंदोलनकारियों का चिह्नितीकरण भी उसी तिथि से किया जाना चाहिए. इसमें 2015 या 2021 की डेटलाइन का अड़ंगा लगाकर आंदोलनकारियों को मानसिक रूप से परेशान नहीं किया जाना चाहिए. संजय लकड़ा ने मांग की है कि आंदोलनकारियों को हर स्तर पर 20 प्रतिशत का आरक्षण प्रदान किया जाना चाहिए.
ये भी पढ़ें: Akshaya Tritiya 2025: अक्षय तृतीया पर बाबा बैद्यनाथ का होगा महाशृंगार, आम भक्त नहीं कर सकेंगे शृंगार दर्शन
The post Hemant Soren Gift: हेमंत सोरेन की सौगात से खिलेंगे झारखंड आंदोलनकारियों के चेहरे, एक साथ 6 माह की पेंशन appeared first on Naya Vichar.