भभुआ. अपनी 13 सूत्री मांगों को लेकर लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान के तहत संविदा पर कार्य कर रहे प्रखंड समन्वयक मंगलवार से अनिश्चतकालीन हड़ताल पर चले गये हैं. इसमें अधिकार विहीन प्रखंड समन्वयकों पर दंडात्मक कार्रवाई पर रोक लगाये जाने सहित अन्य मांगे शामिल हैं. गौरतलब है कि इसके पूर्व प्रखंड समन्वयकों द्वारा अनिश्चितकालीन हडताल पर जाने की सूचना भी जिला प्रशासन को दी गयी थी. इस संबंध में जानकारी देते हुए लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान संविदा कर्मी संघ के जिलाध्यक्ष संतोष कुमार गौतम ने बताया कि अपनी 13 सूत्री मांगों को लेकर बिहार लोहिया स्वच्छता अभियान संविदा कर्मी संघ का शिष्टमंडल ग्रामीण विकास विभाग बिहार प्रशासन तक गया. लेकिन, दो बार वार्ता करने के बावजूद स्पष्ट आश्वासन देने के बाद भी विभाग द्वारा मांगों की पूर्ति की दिशा में कुछ भी नहीं किया गया. इसके बाद प्रदेश संघ की अपील पर अब आठ अप्रैल से अनिश्चितकालीन हडताल करने का निर्णय लिया गया है. लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान के तहत प्रखंड समन्वयक के रूप में कार्यरत संविदा कर्मियों द्वारा प्रशासन से अपनी 13 सूत्री मांगों के तहत अधिकार विहीन प्रखंड समन्वयकों पर किये जाने वाले दंडात्मक कार्रवाई पर रोक लगाने सहित अन्य मांगे शामिल हैं. अन्य मांगों में मानदेय पुनरीक्षण, बगैर शर्त 60 साल तक सेवा काल बहाल करना, पद पर प्रत्यार्पण, फिटमेट और एक्सपिरियंस इनसेंटिव, दुर्घटना और मृत्यु लाभ, गृह जिला या निकटतम जिला में पदस्थापन, वित्तीय अधिकार, लैपटाॅप पौलिसी का लाभ, सेवा अभिलेख का संधारण, कार्य अवधि के अतिरिक्त कार्य के लिए अतिरिक्त भत्ता, विभागीय कार्य के अलावा अन्य कार्य के प्रतिनियुक्ति पर रोक आदि शामिल है. इन्सेट प्रभावित होगा जिले में चल रहा स्वच्छता अभियान भभुआ. लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान के तहत संविदा पर कार्य कर रहे प्रखंड समन्वयक के अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने से जिले में चल रहा स्वच्छता अभियान गंभीर रूप से प्रभावित होने का दावा हडताली कर्मियों द्वारा किया गया है. इधर, इस संबंध में जब जिला स्वच्छता समन्वयक नरेंद्र कुमार से बात की गयी तो उनका भी कहना था कि कर्मियों की हडताल से स्वच्छता कार्य कलापों पर गंभीर असर पड़ेगा. यह पूछे जाने पर कि इस अनिश्चितकालीन हड़ताल को लेकर प्रशासन स्तर से कोई विकल्प तैयार किया जा रहा है या नहीं, तो उन्होंने बताया कि वर्तमान इसका कोई विकल्प अभी समाने नहीं है. गौरतलब है कि प्रखंड समन्वयकों उपर जिले की पंचायतों और गांवों में चलाया जा रहा स्वच्छता अभियान को क्रियाशील बनाये रहने की महती जिम्मेदारी है. साथ ही अभियान की मानीटरिंग, रिपोटिंग और स्वच्छता को लेकर लोगों को जागरूक और प्रेरित करने का काम भी प्रखंड समन्वयकों ने संभाल रखा है. ऐसे में प्रशासनी की यह महत्वपूर्ण योजना के क्रियान्वयन पर प्रभावित होने की संभावना मंडराने लगी है.
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