Purnia News: परिजनों द्वारा लगाये गये गंभीर आरोपों के बीच पूर्णिया के एसपी कार्तिकेय शर्मा ने सरसी थानाध्यक्ष मनीष चन्द्र यादव को तत्काल लाइन हाजिर कर दिया है और उसकी जगह कटिहार मोड़ टीओपी प्रभारी अभय रंजन को नया थानाध्यक्ष बनाया है. बनमनखी के एसडीपीओ सुबोध कुमार ने बताया कि मृतक के बड़े भाई के आवेदन पर सरसी थाने में थानाध्यक्ष रहे मनीष चंद्र यादव एवं एसआइ आयुष राज के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया जायेगा. परिजनों ने जमकर हंगामा किया रविवार की सुबह जीएमसीएच के पोस्टमार्टम हाउस के बाहर परिजनों ने जमकर हंगामा किया. परिजन सरसी थानाध्यक्ष मनीष चन्द्र यादव, एसआइ आयुष राज समेत अन्य पुलिसकर्मियों पर हत्या का मामला दर्ज करने की मांग पर अडिग थे. बाद में काफी समझाने-बुझाने के बाद मामला शांत हुआ. हंगामा की सूचना पर सदर थानाध्यक्ष अजय कुमार, सहायक खजांची थानाध्यक्ष पुरुषोत्तम कुमार, फणीश्वरनाथ रेणु टीओपी प्रभारी शबाना आजमी सदल बल पहुंचे. तीन सदस्यीय मेडिकल बोर्ड में प्रतिनियुक्त मजिस्ट्रेट की उपस्थिति में शव का पोस्टमार्टम कराया गया. पूरे पोस्टमार्टम का वीडियोग्राफी भी करायी गयी. इसबीच, सूचना मिलने पर पूर्णिया के सांसद पप्पू यादव, पूर्व सांसद संतोष कुशवाहा, पूर्व मंत्री सह कसबा विधायक अफाक आलम, पूर्व विधायक प्रदीप दास आदि पोस्टमार्टम पहुंचकर मृतक के परिजनों से मिलकर घटना की जानकारी ली. जिले के जलालगढ़ थाना के भठेली गांव का निवासी 28 वर्षीय ललित पिछले दो सालों से सरसी थाना मे कार्यरत था. मृतक ललित के शरीर पर मिले गहरे जख्म मृतक के शरीर पर गहरे जख्म के निशान पाये गये हैं. ललित के शरीर के पिछले हिस्से के कमर से लेकर घुटने के ऊपर तक गहरे जख्म पाये गये हैं. परिजनों का आरोप है कि पुलिसवालों ने लोहे के रड से उसकी काफी पिटाई की जिससे उसकी मौत हो गयी. मृतक का बड़ा भाई पप्पू कुमार, लाल बहादुर, पंकज कुमार ने बताया कि जख्म के निशान देखकर साफ प्रतीत होता है कि उसने सुसाइड नहीं बल्कि सुनियोजित तरीके से उसकी हत्या की गयी है. इनलोगों ने शनिवार को मृतक ललित कुमार थाना में डयूटी पर शाम तक नहीं पहुंचा तो पुलिस द्वारा इसका पता तक नहीं लगाया गया जबकि थाना से उसके प्रशासनी क्वार्टर की दूरी महज 100 मीटर होगी. शनिवार को सुबह से फोन नहीं उठा रहा था ललित मृतक के भाई पप्पू कुमार ने बताया कि ललित रोज घर फोन करता था. शनिवार को जब वह सुबह से दोपहर तक घर फोन नहीं किया था. जब उनलोगों ने ललित के मोबाइल पर फोन किया तो रिंग होने के बावजूद कॉल रिसिव नहीं हो रहा था. कई बार फोन करने के बाद भी जब ललित ने फोन नहीं उठाया तो देर शाम को उसकी समाचार लेने सरसी थाना पहुंचे. देखा कि उसके क्वार्टर का दरवाजा बंद था. दरवाजे को धक्का देते ही खुल गया. जहां देखा कि ललित फंदे से मृत लटका हुआ था और उसके शरीर के पैर का ठेहूना जमीन से लगा हुआ है. इसके बाद घटना की तत्काल सूचना सरसी थाना की पुलिस को दी गयी. सूचना के बाद एफएसएल एवं डॉग स्क्वायड टीम पहुंच कर घटनास्थल एवं शव की बारीकी से जांच पड़ताल की. पुलिस डॉग से घटना में मदद नहीं मिली. परिजन पूछ रहे सवाल? पूर्णिया. सरसी थाने में कार्यरत कार्यपालक सहायक ललित कुमार की संदिग्धावस्था में हुई मौत से एक दिन पूर्व यानि शुक्रवार को आखिर थाना परिसर में ललित के साथ क्या हुआ कि वह दूसरे दिन ड्यूटी पर वापस नहीं आया. इस सवाल का जवाब परिजन ढूंढ़ रहे हैं. परिजनों ने बताया कि बीते 30 मई को शाम 4 बजे ललित को थाना में काफी प्रताड़ित किया गया था. इसके बाद ही वह अपने आवास गया, जहां से दूसरे दिन शनिवार को उसका शव निकला. परिजनों ने बताया कि सरसी थाना में ललित कुमार विगत डेढ़ वर्ष से कार्यरत था. इससे पूर्व वह भवानीपुर थाना में था. सरसी थाना में कार्य करने के दौरान ललित पूर्णिया के जनता चौक पर रह कर आना जाना करता था. लेकिन थानाध्यक्ष के दबाव में आकर उसने डेढ़ महीना पहले सरसी थाना परिसर स्थित कोशी कॉलोनी के क्वार्टर में आकर रहने लगा. बिहार की ताजा समाचारों के लिए क्लिक करें ललित ने परिजनों को बताया था परेशानी का वजह परिजनों ने बताया कि ललित हर दिन घरवालों से बात करता था. अक्सर वह परेशान रहता था. परिजनों ने बताया कि कुछ दिन पहले ललित घर आया था और बता रहा था कि सरसी थानाध्यक्ष मनीष चन्द्र यादव एवं एसआई आयुष राज उसे विभिन्न कारणों से प्रताड़ित किया करते थे. इस वजह से वह नौकरी छोड़ना चाहता है. परिजनों को शक है कि थाना का कोई ऐसा राज है, जो ललित जानता था. इस वजह से उसे रास्ते से हटा दिया गया. परिजनों ने बताया कि पांच वर्ष पूर्व ललित को कार्यपालक सहायक की नौकरी मिली. 28 वर्षीय ललित कुमार अविवाहित था. ललित मूल रूप से जिले के जलालगढ़ थाना के भठेली गांव का निवासी था. उसके पिता परमेश्वर लाल दास श्रीनगर अंचल में राजस्व कर्मी थे. मृतक पांच भाई एवं तीन बहन में वह सबसे छोटा था. घटना के बाद गांव में कोहराम मच गया है. इसे भी पढ़ें: जमीन मालिकों को मिली बड़ी राहत, अब ये 5 काम होंगे सिर्फ एक कॉल पर, 3 जून से होगा शुरू घटना की उच्चस्तरीय जांच की मांग परिजनों के अलावा कार्यपालक सहायक सेवा संघ के जिलाध्यक्ष मनु कुमार ने घटना की उच्चस्तरीय जांच की मांग की है. इसके अलावा लाइन हाजिर किये गये सरसी थानाध्यक्ष मनीष चन्द्र यादव को अविलंब सस्पेंड कर विभागीय कार्रवाई की मांग की है. The post Purnia News: ‘थाना का कोई राज जानता था ललित’, परिजनों ने जताई साजिश की आशंका, जख्म के निशान खड़े कर रहें हैं कई सवाल appeared first on Naya Vichar.