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आस्था

आस्था, समस्तीपुर

रावण के राज्य में रहकर भी विभीषण नहीं बिगड़ा : देवी ऋचा मिश्रा,  सलेमपुर में रामकथा का आयोजन 

 नया विचार सरायरंजन:लंका देश में रावण जैसे राज्य में रहकर रावण का सहोदर भाई विभीषण नहीं बिगड़ा।यह बातें शनिवार की शाम बरबट्टा सलेमपुर गांव में रामकथा कहते कथावाचिका देवी ऋचा मिश्रा ने सातवें दिन कहीं। देवी मिश्रा ने कहा कि रावण के भाई विभीषण ने लंका में रहते हुए राम के भक्त थे। हर ग़लत काम पर विभिषण ने रावण का विरोध करता था । इसलिए रावण ने लात मारकर विभिषण को अपने राज्य से निकाल दिया था। इसके बाद विभीषण राम के शरण में आकर रहा । कथा वाचिका ने कहा कि महाहिंदुस्तान युद्ध के समय हनुमान जी श्रीकृष्ण और अर्जुन के रथ के उपर ध्वज में विराजमान थे। हनुमान जी के ही पुण्य प्रताप से अर्जुन और युधिस्ठिर ने महाहिंदुस्तान का युद्ध जीता था। रावण ने जब सीता का अपहरण किया था।तब भी विभीषण ने विरोध किया था। उन्होंने रावण से कहा था कि आप साक्षात भगवती को ले आए है। इसका परिणाम बहुत ही बुरा होगा। इन्होंने कहा कि भगवान शंकर को सातवां श्रृंगार भष्म है, आठवां श्रृंगार है रूद्राक्ष, नौवां श्रृंगार है सर्प का माला,दशवां श्रृंगार है नंदी बैल ,11 वां श्रृंगार है डमरू, 12 वां श्रृंगार है बाघ का चर्म है।जो लोग बारहों श्रृंगार को लेकर पूजा करते हैं, उन्हें सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है। उन्होंने कहा कि भगवान श्रीराम भी भगवान शिव के भक्त हैं,जिस कारण भगवान शिव ने श्री राम को रावण पर विजयी दिलाने का आशीर्वाद दिया था । जिससे रावण पर विजयी प्राप्त किया था। रामकथा को सफल बनाने में संपूर्ण ग्रामवासी सक्रिय सहयोग दे रहे हैं।

आस्था, बिहार

13 मार्च को होलिका दहन एवं 15 मार्च को मनाई जाएगी होली

नया विचार –  13.3.2025 को होलिका दहन और 15.3.2025 को मनाई जाएगी होली,, इस वर्ष 13 मार्च को होलिका दहन 10:45 मिनट रात्रि के बाद होलिका दहन का शुभ मुहूर्त है। पंडित अनन्त कुमार ठाकुर आचार्य सह शोधार्थी समर्थक विद्वान विश्वविद्यालय पंचांग बिहार ने बताया कि शास्त्र के अनुसार भद्रा में दो काम करना निषेध माना गया है- एक रक्षाबंधन दूसरा होलिका दहन।  रक्षाबंधन मनाने पर राज का नाश होता है जबकि होलिका दहन करने से गांव में अग्नि दहन होता है। इसलिए 10:45 मिनट के बाद भद्रा समाप्ति के बाद होलिका दहन करना धर्म शास्त्रों के अनुसार उचित है। 14 मार्च को पुर्णिमा तिथि रहेगी अतः स्नान दान और अपने इष्ट देवी देवताओं को सिंदूर विशेष भाग अर्पित किया जाएगा। 15 मार्च को प्रातः काल के प्रतिपदा में होलिका का भस्म धारण कर उत्साह उमंग और सौहार्द पूर्ण होली स्पोर्ट्सी जाएगी। होली को लेकर लोगों में संशय कि स्थिति बनी हुई है लेकिन होलिका दहन को लेकर मिथिला एवं बनारस दोनों पंचांग का एक ही मत है। फाल्गुन शुक्ल की पुर्णिमा दो दिन होने से होलिका दहन के एक दिन बाद होली पर्व मनाई जाएगी। फाल्गुन पूर्णिमा का व्रत 13 मार्च को तथा स्नान दान की पुर्णिमा 14 मार्च को होगी फाल्गुन की पुर्णिमा गुरुवार को प्रातः 10:11 बजे से शुरू हो रहा है और भद्रा भी उसी समय से आरंभ हो रही है । 14 मार्च को पुर्णिमा तिथि दोपहर 11 बजकर 22 मिनट तक ही हैं।  ज्योतिष शास्त्र धर्म शास्त्र में स्पष्ट होलिका दहन को लेकर तीन नियम बतलाऐ गये हैं- पहला पुर्णिमा तिथि,दुसरा भद्रा मुक्त काल व तीसरा रात्रि का समय होनी चाहिए।  रंगोत्सव का पर्व होली उदय व्यापिनी चैत्र कृष्ण प्रतिपदा में मनाई जाती है। प्रेम सौहार्द व रंगों का पर्व होली चैत्र कृष्ण प्रतिपदा 15 शनिवार को होली स्पोर्ट्सी जाएगी । इसमें कोई संदेह नही है।    

आस्था, समस्तीपुर

251 कुंवारी कन्याओं ने निकाली कलश शोभा यात्रा 

नया विचार सरायरंजन : मुसरीघरारी नगर पंचायत के बखरी बुजुर्ग स्थित वार्ड 12 में बुधवार को अष्टयाम महायज्ञ को ले भव्य कलश शोभा यात्रा निकाली गई। इस कलश शोभा यात्रा में गांव की 251 कुंवारी कन्याओं ने भाग लिया। यह कलश यात्रा यज्ञाचार्य के नेतृत्व में यज्ञ स्थल से शुरू होकर गाजे –बाजे के साथ गांव के विभिन्न मार्गो से गुजरते हुए उदा हाट स्थित तालाब के पास पहुंची। वहां वैदिक मंत्रोच्चार के साथ तालाब का पवित्र जल भरकर पुनः यज्ञ स्थल पर लौट आई। इसके बाद जल कलश को यज्ञ स्थल पर स्थापित किया गया। बाद में श्रद्धालुओं के बीच प्रसाद का भी वितरण किया गया। इस कलश यात्रा में वार्ड पार्षद होरिल साह,विद्याकर झा, सुजीत कुमार साह,राकेश कुमार शर्मा, रूपेश कुमार शर्मा, धर्मेंद्र प्रसाद गुप्ता, मनोज कुमार साह,दीपक कुमार साह, नरेश कुमार साह, प्रियरंजन कुमार, सुनील कुमार राय, अजीत कुमार साह, धर्मेंद्र कुमार शर्मा सहित दर्जनों श्रद्धालु शामिल हुए।

आस्था, समस्तीपुर

सुदामा चरित्र की कथा सुन भाव विभोर हुए श्रोता

नया विचार सरायरंजन : प्रखंड के रामपुर गांव में मंगलवार को श्रीमद् भागवत कथा के दौरान सुदामा चरित्र पर प्रवचन हुआ। वृंदावन से पधारे कथावाचक आचार्य सुजीत जी महाराज ने सुदामा के चरित्र का वर्णन करते हुए कहा कि मित्रता करो तो भगवान श्री कृष्ण और सुदामा जैसी करो। सच्चा मित्र वही है,जो अपने मित्र की परेशानी को समझे और बिना बताए ही मदद कर दे। परंतु आजकल स्वार्थ की मित्रता रह गई है। जब तक स्वार्थ सिद्ध नहीं होता है, तब तक मित्रता रहती है। जब स्वार्थ पूरा हो जाता है, मित्रता खत्म हो जाती है। उन्होंने कहा कि एक सुदामा अपनी पत्नी के कहने पर मित्र श्रीकृष्ण से मिलने द्वारका जाते हैं। तब वे प्रहरियों से श्रीकृष्ण को अपना मित्र बताते हैं और अंदर जाने की बात कहते हैं। सुदामा की बात सुनकर प्रहरि उनका उपहास उड़ाते हैं और कहते हैं कि भगवान श्रीकृष्ण का मित्र एक दरिद्र व्यक्ति कैसे हो सकता है। प्रहरियों की बात सुनकर सुदामा अपने मित्र से बिना मिले ही लौटने लगते हैं। तभी एक प्रहरी महल के अंदर जाकर भगवान श्रीकृष्ण को बताता है कि महल के द्वार पर सुदामा नाम का एक दरिद्र व्यक्ति खड़ा है और अपने आप को आपका मित्र बता रहा है। द्वारपाल की बात सुनकर भगवान श्रीकृष्ण नंगे पांव ही दौरे चले आते हैं और अपने मित्र को गले से लगा लेते हैं। कथा के बीच-बीच में भजन गायक पंडित अमित कुमार झा अपने मधुर संगीत से यहां का वातावरण भक्तिमय बनाने में जुटे हैं। मौके पर मुख्य आयोजक सीताराम झा एवं घनश्याम झा के अलावा सैकड़ों श्रद्धालु मौजूद रहे।

आस्था, समस्तीपुर

जीवन को भक्तिमय एवं आनंदमय बनाने की सीख देती है भागवत कथा

नया विचार सरायरंजन : प्रखंड के गुढमा गांव में श्रीमद् भागवत कथा जारी है। श्रीमद् भागवत कथा के पांचवें दिन दरभंगा से पधारे कथावाचक गोविंदाचार्य जी महाराज ने श्रीमद् भागवत कथा के श्रवण से मिलने वाले लाभ पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि श्रीमद् भागवत कथा के श्रवण से मनुष्य को पुण्य की प्राप्ति होती है। कई दुख दूर हो जाते हैं। इसलिए सनातन धर्मावलंबियों को अवश्य श्रीमद् भागवत कथा का श्रवण करना चाहिए। उन्होंने कहा कि श्रीमद् भागवत कथा हमारे जीवन को भक्तिमय एवं आनंदमय बनाने की सीख प्रदान करती है। यह जीवन जीने की कला सिखाती है। इससे हमारा जीवन पवित्र हो जाता है। बता दें कि गुढमा गांव में आयोजित श्रीमद् भागवत कथा में भगवान की कई झांकियां भी प्रस्तुत की जाती हैं,जिससे श्रद्धालु भक्ति में भाव विभोर हो जाते हैं। प्रत्येक दिवस पर कथा के उपरांत प्रसाद का भी वितरण किया जाता है। इसलिए श्रद्धालुओं की भीड़ बढ़ती ही जा रही है। इस कथा के आयोजन में डॉ .अमरनाथ ईश्वर, डॉ .प्रभाकर, डॉ .सुधाकर,वैद्यनाथ ईश्वर, जगन्नाथ ईश्वर, विश्वनाथ ईश्वर, पंकज कुमार ईश्वर, लाल बाबू ईश्वर,बॉबी ईश्वर, अनिल ईश्वर, सुनील ईश्वर,उमेश ईश्वर, राकेश ईश्वर, आदित्य ईश्वर, नवीन ईश्वर, नलिन ईश्वर, खगेश ईश्वर आदि सक्रिय सहयोग दे रहे हैं।

आस्था, समस्तीपुर

यज्ञ हवन एवं संकीर्तन के साथ गायत्री महायज्ञ संपन्न 

नया विचार सरायरंजन : प्रखंड के बथुआ बुजुर्ग स्थित गायत्री शक्तिपीठ में मंगलवार की शाम यज्ञ हवन एवं संकीर्तन के साथ तीन दिवसीय महायज्ञ भक्ति भाव के साथ संपन्न हो गया। पिछले तीन दिनों से जारी वैदिक मंत्रोच्चार से बथुआ बुजुर्ग सहित आसपास का क्षेत्र गूंजायमान रहा। इस संबंध में गायत्री शक्तिपीठ के व्यवस्थापक प्रमोद प्रसाद सिंह ने बताया कि अखिल विश्व गायत्री परिवार शांतिकुंज हरिद्वार के तत्वावधान में तीन दिवसीय गायत्री महायज्ञ का आयोजन किया गया। महायज्ञ के प्रथम दिन भव्य कलश शोभा यात्रा निकाली गई। दूसरे दिन विभिन्न प्रकार के संस्कार संपन्न कराए गए। वहीं संध्या में दीप यज्ञ का आयोजन हुआ। मंगलवार को समापन के दिन यज्ञ हवन, सुंदरकांड का पाठ एवं विशाल भंडारे का आयोजन हुआ। इस महायज्ञ में शांतिकुंज के प्रतिनिधि परमानंद सिंह,राकेश कुमार, राजेश्वर शर्मा,विजय कुमार चौरसिया,नारायण सिंह,अजय प्रसाद सिंह,रेणु देवी, मूंगा देवी,मुन्नी देवी,नवीन सिंह,संजय सिंह,दीपक कुमार, रवींद्र कुमार, रोहित कुमार,राजा कुमार आदि ने सक्रिय सहयोग दिया।

आस्था, समस्तीपुर

गायत्री महायज्ञ को ले निकाली कलश शोभा यात्रा

नया विचार सरायरंजन : अखिल विश्व गायत्री परिवार शांतिकुंज हरिद्वार के तत्वाधान में प्रखंड के बथुआ बुजुर्ग स्थित गायत्री शक्तिपीठ की 9 वीं वर्षगांठ को लेकर रविवार को तीन दिवसीय गायत्री महायज्ञ का आयोजन शुरू हुआ। इस महायज्ञ को लेकर गांव की 301 कुंवारी कन्याओं ने भव्य कलश शोभा यात्रा निकाली। इस कलश यात्रा में शामिल कुंवारी कन्याएं पूरे गांव का भ्रमण करते हुए पुनः शक्तिपीठ पर पहुंची। इसके पश्चात वैदिक मंत्रोचार के साथ यज्ञ स्थल पर जल कलश को स्थापित किया गया। महायज्ञ के दूसरे दिन 17 फरवरी को विभिन्न प्रकार के संस्कार संपन्न कराए जाएंगे। संध्या में दीप यज्ञ का आयोजन होगा। वहीं 18 फरवरी को यज्ञ हवन एवं सुंदरकांड पाठ के साथ महायज्ञ का समापन किया जाएगा। इस आयोजन में गायत्री शक्तिपीठ के व्यवस्थापक प्रमोद प्रसाद सिंह, राकेश कुमार, शांतिकुंज प्रतिनिधि परमानंद सिंह,रामेश्वर शर्मा,विजय कुमार चौरसिया, नारायण सिंह, अजय प्रसाद सिंह, रेणु देवी, मूंगा देवी, मुन्नी देवी,नवीन सिंह,संजय कुमार, बाबुल,दीपक, रवींद्र, रोहित,राजा, मुस्कान सहित समस्त ग्रामवासी सक्रिय सहयोग दे रहे हैं।

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PRAYAGRAJ NEWS- महाकुम्भ मेला क्षेत्र में दिनांक 15.02.2025 दिन शनिवार एवं दिनांक 16.02.2025 दिन रविवार हेतु यातायात प्रबंध 

नया विचार – महाकुम्भ मेला क्षेत्र में दिनांक 15.02.2025 दिन शनिवार एवं दिनांक 16.02.2025 दिन रविवार हेतु यातायात प्रबंध •  महाकुम्भ मेला क्षेत्र में निरंतर बढ़ रही भीड़ को दृष्टिगत रखते हुए मेला क्षेत्र में आने वाले श्रद्धालुओं/स्नानार्थियों के लिए यातायात संबंधित आवश्यक दिशा-निर्देश (क) दिनांक 15/16.02.2025 को मेला क्षेत्र में आने वाले श्रद्धालुओं/ स्नानार्थियों के सुगम आवागमन एवं सुरक्षा कारणों से सम्पूर्ण मेला क्षेत्र में जोनल यातायात व्यवस्था लागू रहेगी- 1 – परेड मेला क्षेत्र से संगम मेला क्षेत्र की ओर आने वाले श्रद्धालुओं/स्नानार्थियों परेड क्षेत्र की तरफ बने संगम सहित अन्य स्नान घाट पर स्नान कर सकेंगे | 2- झूंसी मेला क्षेत्र से मेला क्षेत्र में आने वाले श्रद्धालुओं/स्नानार्थियों झूंसी की तरफ बने स्नान घाटों पर स्नान कर सकेंगे | 3- अरैल मेला क्षेत्र से मेला क्षेत्र में आने वाले श्रद्धालुओं/स्नानार्थियों अरैल की तरफ बने स्नान घाटों पर स्नान कर सकेंगे | (ख) सम्पूर्ण महाकुम्भ मेला क्षेत्र में नो व्हीकल जोन लागू किया गया है| 1 – महाकुम्भ मेला क्षेत्र में आने वाले श्रद्धालुओ/स्नानार्थियों के लिए मेला पुलिस द्वारा जारी किए गए वाहन पास के वाहन स्वामी भी निर्धारित ‘पार्किंग’ स्थलों पर अपने वाहनो को पार्क करेंगे एवं महाकुम्भ मेला क्षेत्र में आकस्मिक सेवा/चिकित्सीय सेवा जैसे एम्बुलेंस एवं खाद्य व रसद के वाहनों के अतिरिक्त सभी प्रकार के वाहनों का संचरण प्रतिबंधित रहेगा। (ग) महाकुम्भ मेला क्षेत्र में आने वाले श्रद्धालुओं/स्नानार्थियों से अनुरोध है कि मेला पुलिस/प्रशासन व यातायात पुलिस के सुझावों का पालन करें एवं सुगम आवागमन व सुरक्षित स्नान हेतु मेला पुलिस का सहयोग करें |

आस्था, समस्तीपुर

अखिल ब्रह्मांड की अधिष्ठात्री देवी हैं भगवती ललिता: सत्यनारायण 

नया विचार मोरवा  । अखिल ब्रह्मांड की अधिष्ठात्री देवी हैं भगवती ललिता। उक्त बातें कहीं ऐतिहासिक खुदनेश्वरस्थान प्रांगण में आयोजित ललिता जयंती समारोह को संबोधित करते हुए अखिल हिंदुस्तानीय रामचरितमानस प्रचार महासंघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष आचार्य सत्यनारायण मिश्र सत्य ने। न्यास समिति के अध्यक्ष इंद्रदेव शर्मा की अध्यक्षता में आयोजित समारोह को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने भगवती ललिता को देवी के महान रूपों में लालित्य एवं सौम्यता गुण संपन्न प्रमुख भगवती बताया।उप प्रमुख स्मिता शर्मा,अवधेश कुमार शर्मा,सौरभ कुमार शर्मा बबलू जी, गौरव कुमार शर्मा मुन्ना जी,पुजारी चंदन हिंदुस्तानी, रंजीत कुमार शर्मा, गंगा प्रसाद मिश्र, विद्यानंद झा, अमित कुमार झा, चंदन कुमार झा,जगदीश झा, दिनेश झा ,सुशील कुमार वर्मा , विभूति नाथ झा आदि में संबोधित किया। मौके पर बिरिया देवी, कृष्ण देव राय, अरुण कुमार झा, महेश झा,उमेश झा सहित सभी न्यास समिति सदस्य एवं ग्रामीण मौजूद थे।

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समस्तीपुर मंडल द्वारा कुंभ मेला स्पेशल ट्रेनों का आज होगा संचालन

नया विचार समस्तीपुर– समस्तीपुर मंडल (SPJ Division) द्वारा कुंभ मेले के दौरान यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए विशेष ट्रेनें चलाई जाएंगी। ये ट्रेनें विभिन्न स्टेशनों से प्रयागराज होते हुए कानपुर (CNB) तक संचालित की जाएंगी। ट्रेनों का विवरण निम्नलिखित है: 1. रक्सौल (RXL) से कानपुर (CNB) मार्ग: सीतामढ़ी (SMI) – मुजफ्फरपुर (MFP) – पटना (PPTA) – दीनदयाल उपाध्याय जं. (DDU) लोड: 20 डिब्बे (LWLRRM-01, LSLRD-01, LS-05, LWSCN-13) संभावित प्रस्थान: रक्सौल से 11 फरवरी 2025 को सुबह 06:30 बजे 2. दरभंगा (DBG) से कानपुर (CNB) मार्ग: समस्तीपुर (SPJ) – मुजफ्फरपुर (MFP) – पटना (PPTA) – दीनदयाल उपाध्याय जं. (DDU) लोड: 21 डिब्बे (LWLRRM-01, LSLRD-01, LS-01, LWSCN-13, LWACCN-03, LWACCW-02) संभावित प्रस्थान: दरभंगा से 11 फरवरी 2025 को सुबह 06:00 बजे 3. जयनगर (JYG) से कानपुर (CNB) मार्ग: समस्तीपुर (SPJ) – मुजफ्फरपुर (MFP) – पटना (PPTA) – दीनदयाल उपाध्याय जं. (DDU) लोड: 19 डिब्बे (LWLRRM-01, LSLRD-01, LS-17) संभावित प्रस्थान: जयनगर से 11 फरवरी 2025 को सुबह 10:00 बजे 4. सहरसा (SHC) से कानपुर (CNB) मार्ग: मानसी (MNE) – खगड़िया (KGG) – बरौनी (BJU) – शाहपुरपटोरी (SPP) – हाजीपुर (HJP) – पटना (PPTA) – दीनदयाल उपाध्याय जं. (DDU) लोड: 18 डिब्बे (SLR/C-02, GS-05, GSCN-11) संभावित प्रस्थान: सहरसा से 11 फरवरी 2025 को सुबह 10:00 बजे। इन विशेष ट्रेनों के संचालन से कुंभ मेले में जाने वाले यात्रियों को अधिक सुविधा मिलेगी। यात्रियों से अनुरोध है कि वे अपनी यात्रा से पहले संबंधित स्टेशनों से अधिक जानकारी प्राप्त करें।

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