नया विचार – 13.3.2025 को होलिका दहन और 15.3.2025 को मनाई जाएगी होली,, इस वर्ष 13 मार्च को होलिका दहन 10:45 मिनट रात्रि के बाद होलिका दहन का शुभ मुहूर्त है। पंडित अनन्त कुमार ठाकुर आचार्य सह शोधार्थी समर्थक विद्वान विश्वविद्यालय पंचांग बिहार ने बताया कि शास्त्र के अनुसार भद्रा में दो काम करना निषेध माना गया है- एक रक्षाबंधन दूसरा होलिका दहन। रक्षाबंधन मनाने पर राज का नाश होता है जबकि होलिका दहन करने से गांव में अग्नि दहन होता है। इसलिए 10:45 मिनट के बाद भद्रा समाप्ति के बाद होलिका दहन करना धर्म शास्त्रों के अनुसार उचित है। 14 मार्च को पुर्णिमा तिथि रहेगी अतः स्नान दान और अपने इष्ट देवी देवताओं को सिंदूर विशेष भाग अर्पित किया जाएगा। 15 मार्च को प्रातः काल के प्रतिपदा में होलिका का भस्म धारण कर उत्साह उमंग और सौहार्द पूर्ण होली स्पोर्ट्सी जाएगी। होली को लेकर लोगों में संशय कि स्थिति बनी हुई है लेकिन होलिका दहन को लेकर मिथिला एवं बनारस दोनों पंचांग का एक ही मत है। फाल्गुन शुक्ल की पुर्णिमा दो दिन होने से होलिका दहन के एक दिन बाद होली पर्व मनाई जाएगी। फाल्गुन पूर्णिमा का व्रत 13 मार्च को तथा स्नान दान की पुर्णिमा 14 मार्च को होगी फाल्गुन की पुर्णिमा गुरुवार को प्रातः 10:11 बजे से शुरू हो रहा है और भद्रा भी उसी समय से आरंभ हो रही है । 14 मार्च को पुर्णिमा तिथि दोपहर 11 बजकर 22 मिनट तक ही हैं। ज्योतिष शास्त्र धर्म शास्त्र में स्पष्ट होलिका दहन को लेकर तीन नियम बतलाऐ गये हैं- पहला पुर्णिमा तिथि,दुसरा भद्रा मुक्त काल व तीसरा रात्रि का समय होनी चाहिए। रंगोत्सव का पर्व होली उदय व्यापिनी चैत्र कृष्ण प्रतिपदा में मनाई जाती है। प्रेम सौहार्द व रंगों का पर्व होली चैत्र कृष्ण प्रतिपदा 15 शनिवार को होली स्पोर्ट्सी जाएगी । इसमें कोई संदेह नही है।